मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा विधानसभा चुनाव में समान नागरिक संहिता लागू करने का वादा आखिरकार अब धरातल पर उतरने जा रहा है। समान नागरिक संहिता विधेयक के अधिनियम के रूप में अस्तित्व में आने की अधिसूचना जारी हो गई है। अब इसकी नियमावली बनते ही उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता लागू हो जाएगा।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने समान नागरिक संहिता लागू करने के लिए वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव के दौरान घोषणा की थी। विधानसभा चुनाव में जीत दर्ज करने के बाद सत्ता संभालते ही मुख्यमंत्री धामी ने 27 मई, 2022 को समान नागरिक संहिता का ड्राफ्ट तैयार करने के लिए जस्टिस रंजना प्रकाश देसाई (सेनि) की अध्यक्षता में विशेषज्ञ समिति का गठन किया।
अथक प्रयास के बाद दिया गया रिपोर्ट को अंतिम रुप
समिति ने ड्राफ्ट बनाने के लिए बैठकों का दौर शुरू किया। इस कड़ी में समिति ने प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में आमजन के साथ ही जनजातीय समुदाय के साथ बैठक की। इन बैठकों में मिले सुझाव और अन्य देशों में समान नागरिक संहिता को लेकर बने कानूनों का गहन अध्ययन किया गया। रिपोर्ट को अंतिम रूप देने से पहले विधि विशेषज्ञों से भी राय ली गई। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी स्वयं समिति के सदस्यों से इसका अपडेट लेते रहे।
ड्राफ्ट में पीएम और गृह मंत्री ने भी दिखाई थी रुचि
समान नागरिक संहिता के ड्राफ्ट की प्रगति को लेकर वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह को भी लगातार अवगत कराते रहे। समिति ने इसी दो फरवरी को इसका ड्राफ्ट सरकार को सौंपा, जबकि छह फरवरी को विधानसभा ने इस विधेयक को पारित किया।
समिति की 80 से अधिक बैठकें और 2.30 लाख से अधिक सुझाव
विशेषज्ञ समिति के लगभग 20 माह के कार्यकाल में 80 से अधिक बैठकें हुईं और समिति को 2.30 लाख से अधिक सुझाव मिले। समिति ने समान नागरिक संहिता पर सुझाव लेने के लिए प्रदेश के दूरस्थ क्षेत्रों में भी बैठक की। समिति ने प्रदेश के सभी धर्मों, समुदाय व जनजातियों के प्रतिनिधियों से मुलाकात की और नागरिक संहिता के संबंध में उनके सुझाव व शंकाओं को सुना। बैठकों के दौरान मिले सभी सुझावों को समिति ने अपने ड्राफ्ट में शामिल किया है।
नियमावली बनाने के लिए चल रहा है काम
समान नागरिक संहिता की नियमावली बनाने के लिए प्रदेश सरकार ने 14 फरवरी को समिति गठित की। पूर्व मुख्य सचिव शत्रुघ्न सिंह की अध्यक्षता में गठित समिति में दून विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो सुरेखा डंगवाल, सामाजिक कार्यकर्ता मनु गौड़ व अपर पुलिस महानिदेशक अमित सिन्हा सदस्य तथा स्थानिक आयुक्त अजय मिश्रा सदस्य सचिव हैं। यह समिति नियमावली तैयार करेगी। प्रक्रिया के डिजिटाइजेशन के लिए वेब पोर्टल व मोबाइल एप का निर्माण करेगी और राज्य सरकार के कार्मिकों को प्रशिक्षण देगी।